₹2 लाख तक का गोल्ड लोन वाले कर्जदार ध्यान दें, RBI के प्रस्तावित नियमों से हो सकते हैं बाहर

दो लाख रुपये तक का गोल्ड लोन लेने वाले कर्जदार आरबीआई के प्रस्तावित नियमों से बाहर हो सकते हैं। वित्त मंत्रालय ने कहा, हमने गोल्ड लोन पर केंद्रीय बैंक के मसौदा दिशा-निर्देशों की जांच की है और इन छोटे कर्जदारों को इससे बाहर रखने का सुझाव दिया है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने 9 अप्रैल को गोल्ड लोन पर मसौदा दिशानिर्देश जारी किया था। इसमें गारंटी में सुधार करने और लोन को सही तरीके से उपयोग करने का सुझाव दिया गया है। यह भी प्रस्ताव किया गया कि सोने के बदले वर्गीकृत सभी कर्जों का ऋण मूल्य अनुपात सोने के मूल्य के 75 फीसदी से अधिक नहीं होगा।

जनवरी, 2026 से लागू हो सकता है नियम
वित्त मंत्रालय ने कहा, आरबीआई के मसौदा निर्देशों की वित्तीय सेवा विभाग (डीएफएस) ने जांच की है। डीएफएस ने केंद्रीय बैंक को सुझाव दिए हैं, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि छोटे गोल्ड लोन उधारकर्ताओं की जरूरतों पर विपरीत प्रभाव न पड़े। ऐसे दिशानिर्देशों को क्षेत्र स्तर पर लागू करने के लिए समय की जरूरत होगी। इसलिए, एक जनवरी, 2026 से यह लागू हो सकता है।

आरबीआई भी कर रहा समीक्षा
डीएफएस ने सुझाव दिया कि 2 लाख रुपये तक के उधारकर्ताओं को इन निर्देशों से बाहर रखा जा सकता है, ताकि उन्हें समय पर और तुरंत कर्ज मिल सके। आरबीआई भी फीडबैक की समीक्षा कर रहा है। तमिलनाडु में राजनीतिक दलों और किसान संगठनों ने मसौदे का विरोध किया था।

Related Articles

Back to top button